कोई कंपनी इसलिए दिवालिया नहीं होती कि वो प्रॉफ़िट में नहीं है, वो इसलिए कंगाल होती है क्यू कि उसके पास कैश नहीं बचता । इसलए कैश फ़्लो statement सबसे जरूरी हिस्सा होता है किसी भी कंपनी की आर्थिक स्तिथि जानने के लिए। अभी आप सोच रहे होंगे कि जब profit and loss statement में हमे ये सब जानकारी मिल जाती है तो Cash Flow Statement की जरूरत क्यू पड़ी । आप बिल्कुल सही सोच रहे हो लेकिन Cash Flow Statement की जरूरत इसलिए है ताकि निवेशक यह जान सके कि कंपनी ने अपने operations से कितना कैश बनाया है जब कि pnl statement नहीं बताती ।
चलो इसे थोड़ा और आसान बनाते हैं, मान लीजिए कंपनी ने एक वितवर्ष में 1 करोड़ रुपए की सेल की। अब सेल तो 1 करोड़ की हो गई लेकिन क्या कंपनी ने सच में अपनी सेल 1 करोड़ रुपए कैश में मिले । इसमे बहुत बार ऐसा होता कि सेल का एक बड़ा हिस्सा तो कंपनी को कैश के रूप में मिल जाता है लेकिन कुछ हिस्सा उसे भविष्य में मिलता है अब हो सकता है वो एक साल के बाद मिले या न भी मिले । अब pnl में ये तो दिख जाता है कि कंपनी की सेल कितनी हुई है और उस पर प्रॉफ़िट कितना हुआ है लेकिन pnl statement में ये नहीं पता चलता कि वो पैसा कंपनी को मिल भी है या नहीं।
Styam घोटाला 7,800 करोड़ रुपये से अधिक का एक बड़े पैमाने पर किया गया घोटाला इसी का एक उदाहरण है जो अंततः लगभग 12,320 करोड़ रुपये की गड़बड़ी में बदल गया। सत्यम कंप्यूटर्स के प्रबंधन ने कंपनी की वित्तीय सेहत में हेराफेरी करके बाजार और हितधारकों को गुमराह किया। इस तरह की घटना से बचने के लिए cash flow statement को पढ़ना बहुत जरूरी है। ताकि एक निवेशक ये देख सके कि कंपनी ने जो प्रॉफ़िट दिखाया है क्या वो डाटा कंपनी के cash flow statement में दिखता है ।
cash flow statement को पढ़ना शुरुआत में थोड़ा मुश्किल जरूर लग सकता है लेकिन practice करने के बाद इसे पढ़ना आसान लगने लगेगा । तो चलिए Fundamental Analysis की इस यात्रा में आगे बढ़ते हैं:
किसी भी कंपनी की cash flow statement के 3 Part होते हैं : सबसे पहले operating activity, दूसरा Investing Activity और तीसरा Financing Activity.
मैं Cash Flow Statement में हर लाइन को नहीं पढ़ूंगा, क्योंकि उनमें से ज़्यादातर खुद ही स्पष्ट हैं। चलिए अब इन तीनों को अच्छे से समझते हैं:
1 Operating Activities: इस से हमे पता चलता है कि कंपनी के operations से कितना पैसा पैसा कंपनी के पास आया और कितना पैसा कंपनी से बाहर गया । अब यहाँ पर सबसे जरूरी ये है कि कंपनी ने जो प्रॉफ़िट pnl statement में दिखाया था वह डाटा cfo(cash from operations) से मैच करता है । इसे मैच करने के लिए हम कंपनी का मार्च 2023 का डाटा देखते हैं जिसमे कंपनी ने 9594 लाख रुपए total revenue बनाया था और cash flow statement में “Net Cash generated from operations = 9189.82” हैं । जो कंपनी के Total Revenue के लगभग बराबर ही समझा जाएगा । आम धारणा है कि यदि कंपनी के प्रॉफ़िट और cfo में 10-20% तक का फर्क तो चलेगा लेकिन यदि इस से ज्यादा है तो इस पर निवेश करने से पहले विचार करना बनता है । हालाँकि, कृपया ध्यान दें कि Stylam Industries ने परिचालन गतिविधियों से 6621 लाख रुपये कमाए हैं। ध्यान दें, परिचालन गतिविधियों से सकारात्मक नकदी प्रवाह वाली कंपनी हमेशा वित्तीय रूप से अच्छी होती है।
आप नीचे दिए गए चित्र में देख सकते हैं।
![](https://www.investingawards.in/wp-content/uploads/2024/09/stylam-cash-flow-statement.jpg)
2 Investing Activities: इसमे हमे पता चलता है कि कंपनी अपना पैसा कहाँ पर Invest कर रही है। कंपनी की Growth के लिए जरूरी है कि कंपनी अपना पैसा इन्वेस्ट करें । Investing Activity से पता चलता है कि कंपनी अपनी growth के लिए अपना पैसा कहा लगा रही है जैसे प्रॉपर्टी खरीदने में, Fixed Deposite में, Stocks में या Mutual Funds में। इसके साथ साथ कंपनी इनवेस्टमेंट से जो रिटर्न मिल है वो भी आपको यही पर देखने को मिलेगा । यहाँ पर आप “Net Cash from investing activity(B)” में 3047 से घटकर 1236 लाख हुआ है। डाटा के अनुसार बात करें तो साल 2022 में कंपनी ने 1037 और 583 लाख रुपए की इनवेस्टमेंट की थी । मतलब उस समय कंपनी से पैसा बाहर गया था जब कि साल 2023 में कंपनी को 878 और 440 लाख रुपए प्राप्त हुए थे । इसका मतलब कंपनी में पैसा आया था । इसलिए “Net Cash from investing activity(B)” के डाटा में इतना अंतर आ रहा है । इस तरह जब आप Cash Flow Statement पढ़ेंगे तो आपको पता चलेगा कि डाटा कंपनी के बारे में आपसे कुछ कह रहा है । बस समझने की देर है ।
यह डाटा सभी कंपनी के लिए एक जैसा नहीं होता । उदाहरण के लिए यदि कोई service based company है तो वो intangible assets में इन्वेस्ट करेगी और यदि कोई manufacturing based कंपनी है तो वो tangible assets जैसे land , machine और बिल्डिंग आदि में इन्वेस्ट करेगी । इसलिए Investing Activity को पढ़ते समय इन बातों का ध्यान रखें।
3 Financing Activity:
इस part में आप पढ़ेंगे कि कंपनी को चलाने के लिए जो पैसा आ रहा है वो कहाँ से आ रहा? उदाहरण के लिए यदि कंपनी बैंक से लोन लेती है तो वो पैसा भी आपको फाइनैन्सिंग ऐक्टिविटी में दिखेगा । कंपनी पैसा कहीं से भी ले सकती है हो सकता है वो अपने शेयरहोल्डर से पैसा ले या बाजार में अपनी कंपनी के बॉंडस ला कर लोगों से पैसा उधार ले सकती है । पैसे का जरिया कुछ भी हो सकता है लेकिन वो आपको यह पर दिखेगा जरूर । आप देख सकते हैं कि 2022 में यह आंकड़ा 1714 लाख रुपए था । जो कंपनी के पास आए थे । लेकिन 2023 में या आंकड़ा घटकर -3583 लाख रुपए हो गया । इसका मतलब हुआ कि 3583 लाख रुपए कंपनी से बढ़ गए ।
आइये अब सभी गतिविधियों से प्राप्त नकदी प्रवाह पर नजर डालते हैं:
Cash Flow from | Rupees lakhs(2023) | Rupees lakhs(2022) |
Operating Activities | 6221 | 586 |
Investing Activities | (1236 ) | (3047 ) |
Financing Activities | (3583) | 1714 |
Total | 2569 | 767 |
इन आंकड़ों से पता चलता है कि कंपनी पास 2022 से 2023 में नकदी बढ़ी है। पहले यह 767 लाख रुपए था और 2023 में यह बढ़ कर 2569 लाख रुपए हो गया है । जो एक कंपनी के विकास के लिए अच्छे संकेत हैं ।
आपने पढ़
- कैश फ्लो स्टेटमेंट हमें कंपनी की वास्तविक नकदी स्थिति बताता है।
- हमने पढ़ा कि operating activities, investing activities and the financing activities एक कंपनी की तीन मुख्य गतिविधियाँ होती हैं।
- प्रत्येक गतिविधि में पैसा या तो कंपनी से बाहर जा रहा है या फिर कंपनी के पास आ रहा है।
- कंपनी का शुद्ध नकदी प्रवाह operating activities, investing activities and the financing activities मिला कर बनता हैं ।
- निवेशकों को विशेष रूप से कंपनी की operating activities से होने वाले नकदी प्रवाह को देखना चाहिए।
- इन बातों का जरूर ध्यान रखें कि जब देनदारियाँ बढ़ती हैं, तो कंपनी के नकदी का स्तर बढ़ता है
- और इसके विपरीत जब कंपनी की संपत्ति बढ़ती है, तो नकदी का स्तर घटता है।
- और हमने पढ़ कि वर्ष के लिए शुद्ध नकदी प्रवाह संख्या भी बैलेंस शीट में दिखाई देती है।
- नकदी प्रवाह कंपनी के प्रदर्शन को दर्शाता है।